भारत में भूमि से जुड़ी जानकारी पहले सिर्फ सरकारी दफ्तरों में जाकर ही मिल पाती थी। लोगों को खसरा, खतौनी या जमाबंदी जैसे कागज़ों के लिए कई दिनों तक चक्कर काटने पड़ते थे। लेकिन अब डिजिटल इंडिया मिशन के तहत केंद्र और राज्य सरकारों ने भूमि रिकॉर्ड को पूरी तरह ऑनलाइन कर दिया है।
अब आप घर बैठे अपने मोबाइल या कंप्यूटर से अपनी जमीन की पूरी जानकारी देख सकते हैं चाहे वह खसरा नंबर हो, खतौनी हो या फिर जमाबंदी का रिकॉर्ड। इसके लिए सरकार ने हर राज्य के लिए अलग-अलग भूलेख (Bhulekh) पोर्टल बनाए हैं जहाँ से कुछ ही क्लिक में आपकी जमीन की पूरी डिटेल उपलब्ध हो जाती है।
भूलेख पोर्टल क्या है?
भूलेख पोर्टल (Bhulekh Portal) एक सरकारी वेबसाइट है जहाँ किसी भी नागरिक को अपनी जमीन से संबंधित रिकॉर्ड देखने, डाउनलोड करने और प्रिंट करने की सुविधा दी जाती है। इस पोर्टल के माध्यम से आप अपनी जमीन का खसरा नंबर, खतौनी, जमाबंदी, नक्शा, मालिक का नाम आदि सारी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
भूलेख पोर्टल का मुख्य उद्देश्य पारदर्शिता लाना है ताकि भूमि से जुड़ी कोई भी जानकारी आम जनता के लिए 24×7 उपलब्ध रहे।
मोबाइल से भूलेख 2025 पोर्टल पर अपनी जमीन का रिकॉर्ड कैसे देखें?
आप अपने मोबाइल से भी भूलेख पोर्टल पर अपनी जमीन की जानकारी देख सकते हैं। नीचे दी गई प्रक्रिया सभी राज्यों के लिए लगभग समान है:
- सबसे पहले अपने राज्य के भूलेख पोर्टल की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
- वहाँ “खसरा/खतौनी देखें” या “जमाबंदी रिकॉर्ड देखें” विकल्प पर क्लिक करें।
- अपना जिला, तहसील और गाँव का नाम चुनें।
- अब अपना खसरा नंबर या मालिक का नाम दर्ज करें।
- “Search” बटन पर क्लिक करें।
- आपकी जमीन का पूरा विवरण स्क्रीन पर दिखाई देगा जिसे आप डाउनलोड या प्रिंट कर सकते हैं।
सभी राज्यों के भूलेख पोर्टल की सूची (2025)
| राज्य का नाम | भूलेख पोर्टल लिंक |
| उत्तर प्रदेश | http://upbhulekh.gov.in |
| बिहार | http://biharbhumi.bihar.gov.in |
| मध्य प्रदेश | https://mpbhulekh.gov.in |
| महाराष्ट्र | https://mahabhumi.gov.in |
| राजस्थान | https://apnakhata.raj.nic.in |
| हरियाणा | https://jamabandi.nic.in |
| पंजाब | https://jamabandi.punjab.gov.in |
| झारखंड | https://jharbhoomi.nic.in |
| छत्तीसगढ़ | https://bhuiyan.cg.nic.in |
| ओडिशा | https://bhulekh.ori.nic.in |
| पश्चिम बंगाल | https://banglarbhumi.gov.in |
| तमिलनाडु | https://eservices.tn.gov.in |
| कर्नाटक | https://landrecords.karnataka.gov.in |
| गुजरात | https://anyror.gujarat.gov.in |
| उत्तराखंड | https://bhulekh.uk.gov.in |
भूलेख पोर्टल से कौन-कौन सी जानकारी मिलती है?
भूलेख पोर्टल के माध्यम से आप अपनी जमीन से जुड़ी कई जानकारियाँ ऑनलाइन प्राप्त कर सकते हैं जैसे
जमीन का खसरा नंबर, खतौनी, क्षेत्रफल, भूमि का प्रकार (खेती योग्य/अखेती), भूमि मालिक का नाम, सर्वे नंबर, और नक्शा (Map View)।
भूलेख रिकॉर्ड को डाउनलोड करने की प्रक्रिया
अगर आप अपने रिकॉर्ड को PDF में डाउनलोड करना चाहते हैं तो साइट पर “Download” या “Print” का विकल्प मिलेगा।
आप इसे अपने मोबाइल या कंप्यूटर में सेव करके कहीं भी दिखा सकते हैं। यह दस्तावेज बैंक, कोर्ट या सरकारी कार्यों में भी उपयोगी होता है।
भूलेख 2025 पोर्टल के फायदे
- नागरिकों को सरकारी दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ते।
- जमीन के रिकॉर्ड में पारदर्शिता आती है।
- किसी भी विवाद या धोखाधड़ी के मामले में तुरंत सबूत के रूप में जमीन का डेटा दिखाया जा सकता है।
- ऑनलाइन सत्यापन और रिकॉर्ड अपडेट करना आसान हो गया है।
- समय और पैसे दोनों की बचत होती है।
राज्यवार नए अपडेट 2025 में
साल 2025 में कई राज्यों ने अपने पोर्टल में सुधार किए हैं। अब OTP आधारित लॉगिन, QR कोड वेरिफिकेशन और ऑनलाइन म्यूटेशन ट्रैकिंग जैसी सुविधाएँ जोड़ी गई हैं।
इससे उपयोगकर्ताओं को रियल टाइम में भूमि रिकॉर्ड की स्थिति देखने में आसानी हो रही है।
FAQs-भूलेख 2025 से जुड़े सामान्य प्रश्न
प्र.1: भूलेख पोर्टल से जमीन की जानकारी देखने के लिए क्या जरूरी है?
उत्तर: आपके पास खसरा नंबर या भूमि मालिक का नाम होना जरूरी है।
प्र.2: क्या मोबाइल से भी भूलेख देखा जा सकता है?
उत्तर: हां, सभी राज्यों के पोर्टल मोबाइल फ्रेंडली हैं। आप सीधे मोबाइल ब्राउज़र से देख सकते हैं।
प्र.3: क्या भूलेख पोर्टल पर दिखाया गया डेटा कानूनी रूप से मान्य है?
उत्तर: हां, सरकारी पोर्टल से प्राप्त जानकारी पूरी तरह मान्य है, लेकिन दस्तावेज की कॉपी के लिए आपको डिजिटल हस्ताक्षरित प्रति प्राप्त करनी होगी।
प्र.4: क्या एक राज्य की भूमि दूसरे राज्य के पोर्टल से देखी जा सकती है?
उत्तर: नहीं, हर राज्य का अलग पोर्टल होता है। आपको उसी राज्य की वेबसाइट पर जाना होगा जहाँ जमीन स्थित है।
प्र.5: क्या 2025 में भूलेख देखने की प्रक्रिया में कोई शुल्क देना होता है?
उत्तर: नहीं, यह पूरी तरह नि:शुल्क सेवा है।
निष्कर्ष
डिजिटल इंडिया अभियान के तहत भूलेख पोर्टल 2025 ने आम लोगों के लिए भूमि रिकॉर्ड देखने की प्रक्रिया को बेहद आसान बना दिया है। अब चाहे आप किसी भी राज्य के हों, आप कुछ ही क्लिक में अपनी जमीन की जमाबंदी, खतौनी, नक्शा और खसरा रिकॉर्ड देख सकते हैं।
यह सुविधा न केवल समय बचाती है बल्कि पारदर्शिता और सुरक्षा भी सुनिश्चित करती है। इसलिए अगर आपने अब तक अपनी जमीन का रिकॉर्ड ऑनलाइन नहीं देखा है, तो आज ही अपने राज्य के भूलेख पोर्टल पर जाकर देखिए।